Ranchi झामुमो ने केंद्रीय कैबिनेट से पारित वन नेशन, वन इलेक्शन प्रस्ताव का विरोध किया है. झामुमो के महासचिव एवं प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि यह राज्यों, राज्यों की संघीय ढांचा, क्षेत्रीय दलों और बाबा साहेब के संविधान को खत्म करने की गहरी साजिश है. झारखंड सहित कई ऐसे राज्य हैं, जहां पर क्षेत्रीय दल राष्ट्रीय दलों को रोकने का काम करते हैं. केंद्र सरकार के इस निर्णय से देश में अधिनायकवादी और तानाशाही कायम हो जायेगा. इसलिए देश के तमाम क्षेत्रीय दल इसके खिलाफ गोलबंद हों और सदन से लेकर सड़क तक इसका विरोध करें. उक्त बातें उन्होंने शुक्रवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कही.
सुप्रियो ने कहा कि जब हमारे देश का संविधान गढ़ा जा रहा था, तो बाबा साहेब भीम राव आंबेडकर ने आशंका जतायी थी कि ऐसा न हो कि सामाजिक लोकतंत्र एक दिन अधिनायकवादी और तानाशाही बन जाये. आज देश इसी दिशा में बढ़ता दिख रहा है. यह सब आरएसएस के इशारे पर हो रहा है. देश में लोकतंत्र और संविधान की मूल भावना को पूरी तरह से खत्म करने की साजिश चल रही है.
कई राज्यों में समय से पहले हो जायेंगे चुनावसुप्रियो ने कहा कि अगर आप 2029 में लोकसभा के साथ विधानसभा का चुनाव कराते हैं, तो उस समय कई ऐसे राज्य होंगे जहां का कार्यकाल, छह महीने, एक साल और यहां तक कि दो साल तक बचा होगा. तो क्या आप इतने पहले चुनाव करा देंगे. क्या यह संघीय ढांचे को खत्म करने जैसा नहीं है. उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी द्वारा राज्यों के साथ आपसी समन्वय बनाने के लिए राज्यों के मुख्य सचिवों के साथ बैठक पर तंज कसते हुए कहा कि अब मोदी जी सीधे यूपीएससी के अफसरों से बात करेंगे, क्योंकि यह अफसर केंद्र के अधीन आते हैं. ऐसे गंभीर विषय पर सीधे राज्यों के मुख्यमंत्री के साथ बैठक होनी चाहिए.