जमशेदपुर : झारखंड की राजनैतिक गतिविधियां दिन ब दिन रंग बदल रही है। एक ओर जहां सत्ताधारी झामुमो सहयोगियों के साथ नित नई योजनाओं के शिलान्यास और उदघाटन के साथ विपक्ष को चुनौती दी रही है तो दूसरी ओर भाजपा और उसके सहयोगी सीटों के बंटवारे के बीच प्रत्याशियों की घोषणा की तैयारी में है।
इधर झामुमो से झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन को तोडऩे के बाद झारखंड के एक और पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा और उसके बाद मधु कोड़ा सरकार में मंत्री रहे एनसीपी नेता और पूर्व मंत्री कमलेश सिंह को भाजपा में शामिल कर नए सिरे से भ्रष्टाचार पर वार कर रही है।
भाजपा पूर्व में भी मघु कोड़ा सरकार में मंत्री रहे भानु प्रताप शाही को भाजपा में शामिल कराने में सफल रही हैं l मुख्यमंत्री मधु कोड़ा, भानु प्रताप शाही और कमलेश सिंह के नामों की चर्चा आमतौर पर भष्टाचार से जुड़े मामलों में होती रही है। अब पत्नी गीता कोड़ा के पीछे-पीछे मधु कोड़ा भी भाजपा में शामिल हुए तो लोगों का आश्चर्य बढना ही था और उस पर पीएम मोदी के मंच से भ्रष्टाचार के खिलाफ हमले के दौरान मधु कोड़ा की मौजूदगी बेहद रोचक थी।
भानु प्रताप शाही, मधु कोड़ा और अब उसके बाद कमलेश सिंह के बीजेपी में शामिल होने पर विरोधी खूब चुटकी ले रहे हैं। विरोधी ही नहीं भाजपा के अंदरखाने भी आवाज उठने लगी है कि जब भानु प्रताप शाही,मधु कोड़ा और कमलेश सिंह को शामिल कर ही लिया गया है तो लगे हाथ हरिनारायण राय और एनोस एक्का को भी एक मौका क्यों न दे दिया जाएl
सीटें बढ़ाने के लिए यदि मुंह से भ्रष्टाचार का विरोध करना है और भ्रष्टाचारियों का अलिं* गन खुल कर करना हो तो एक्का और राय में किया कमी है।
हालांकि दोनो नेता सजायफ्ता है लेकिन नए दौर की राजनीति में परिवार के अन्य सदस्यों को मौका तो दिया ही जा सकता है। भाजपा से वर्षों से जुडे कई कार्यकर्ता पार्टी के मौजूदा हालात से बेहद चिंतित है और दबी जुबान से कहने भी लगे हैं कि यदि सीट जीतने का पैमाना ऐसा ही रहा तो आने वाले दिनों में सत्ता में काबिज हेमंत सरकार को रोकना मुश्किल हो जाएगा।
वहीं विरोधी कह रहे हैं कि भाजपा का चुनावी अभियान वाशिंग मशीन से प्रेरित है जिसमें दाग अच्छे हैं वाली कहावत चरितार्थ हो रही है।
Kumar Manish,9852225588