- आयोग ने कहा, निर्धारित समय के भीतर कराएंगे उपचुनाव, वायनाड में फिलहाल चुनाव के हालात नहीं
New Delhi. जम्मू-कश्मीर में 18 सितंबर से एक अक्टूबर के बीच तीन चरणों में जबकि हरियाणा में एक ही चरण में एक अक्टूबर को विधानसभा चुनाव होंगे. निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को यह घोषणा की. मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि दोनों विधानसभाओं के लिए मतों की गिनती 4 अक्टूबर को होगी. साल 2019 में अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को समाप्त किए जाने के बाद जम्मू-कश्मीर में पहली बार विधानसभा चुनाव होने जा रहे हैं. कुमार ने इस बहुप्रतीक्षित चुनाव के कार्यक्रमों की घोषणा करते हुए कहा कि 90 सदस्यीय जम्मू-कश्मीर विधानसभा के पहले चरण के तहत 18 सितंबर को मतदान होगा जबकि दूसरे चरण के तहत 25 सितंबर को मतदान कराया जाएगा.
उन्होंने कहा कि आखिरी चरण का मतदान एक अक्टूबर को होगा और मतों की गिनती चार अक्टूबर को की जाएगी. कुमार ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में 42.6 लाख महिलाओं सहित कुल 87.09 लाख मतदाता हैं, जिनमें 20 लाख से अधिक युवा हैं.
उन्होंने कहा कि 20 अगस्त को अंतिम मतदाता सूची जारी होगी. मतदान के लिए कुल 11,838 मतदान केंद्र होंगे
उन्होंने कहा कि इस पूर्ववर्ती राज्य के सभी उम्मीदवारों को उनके राजनीतिक दलों की मांग के अनुसार आवश्यक सुरक्षा मुहैया कराई जाएगी. कुमार ने कहा कि जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव के लिए वहां हर किसी में उत्सुकता है और वहां की आवाम तस्वीर बदलना चाहती है. उन्होंने कहा कि आयोग के एक दल ने जम्मू-कश्मीर का दौरा भी किया था और उसके बाद वह वहां मौसम ठीक होने और अमरनाथ यात्रा खत्म होने का इंतजार कर रहा था. केंद्र सरकार ने साल 2019 में अनुच्छेद 370 को निरस्त कर जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों… जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में बांट दिया था. भारतीय संविधान का अनुच्छेद 370 जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देता था. इस फैसले को चुनौती देनी वाली याचिकाओं पर सुनवाई करने वाली उच्चतम न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता में पांच न्यायाधीशों की पीठ ने सर्वसम्मति से फैसला देते हुए जम्मू-कश्मीर के विशेष दर्जे को खत्म करने का फैसला बरकरार रखा था.
इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकार को इस साल सितंबर तक इस पूर्ववर्ती राज्य में विधानसभा चुनाव कराने के लिए कदम उठाने को कहा था. जम्मू-कश्मीर में पिछला विधानसभा चुनाव 2014 के नवंबर-दिसंबर में पांच चरणों में हुआ था. तब यह एक राज्य था और लद्दाख इसका हिस्सा था.
हरियाणा की सभी सीट के लिए एक अक्टूबर को मतदान
हरियाणा की सभी 90 विधानसभा सीट के लिए एक अक्टूबर को मतदान होगा.
कुमार द्वारा घोषित चुनाव कार्यक्रम के अनुसार, हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए अधिसूचना पांच सितंबर को जारी होगी तथा नामांकन 12 सितंबर तक दाखिल किए जा सकते हैं. नाम वापसी की आखिरी तारीख 16 सितंबर होगी. कुमार ने बताया कि मतदान एक चरण में एक अक्टूबर को होगा तथा चार अक्टूबर को मतगणना होगी.
उन्होंने कहा कि हरियाणा के कुल 90 विधानसभा क्षेत्रों में 2.01 करोड़ मतदाता हैं जिनमें 95 लाख महिलाएं हैं. हरियाणा में वर्तमान में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार है. इसका कार्यकाल तीन नवंबर को पूरा हो रहा है. पिछले विधानसभा चुनाव के बाद राज्य में भाजपा ने जननायक जनता पार्टी (जजपा) के साथ मिलकर गठबंधन की सरकार बनाई थी. हालांकि लोकसभा चुनाव में सीट साझेदारी को लेकर असहमति के बाद यह गठबंधन टूट गया था. बाद में भाजपा ने निर्दलीय विधायकों के समर्थन के दम पर अपनी सरकार बचा ली. 46 विधानसभा सीट निर्धारित समय के भीतर कराएंगे
उपचुनाव, वायनाड पर भी बोले
उनका कहना था कि कुछ राज्यों में मौसम के हालत ऐसे हैं कि वहां उपचुनाव नहीं हो सकते…जहां (वायनाड) लोकसभा उपचुनाव होना है वहां बड़ी आपदा आई है और तत्काल उपचुनाव नहीं हो सकता। असम और बिहार जैसे कुछ राज्यों में भी बाढ़ की स्थिति है. कुमार ने कहा, ‘हम सभी जगहों पर चुनाव छह महीने की अवधि के भीतर कराएंगे। पूरी संभावना है कि एक साथ उपचुनाव कराएं.’ देश में जिन 46 विधानसभा सीट के लिए उपचुनाव होना है उनमें 10 सीट उत्तर प्रदेश से हैं। असम में पांच और बिहार में चार विधानसभा सीट पर उपचुनाव होने हैं.